गाजियाबाद के थाना साहिबाबाद में एक हैरान करने वाला मामला सामने आया है,
गाज़ियाबाद के साहिबाबाद स्थित विक्रम एन्क्लेव कॉलोनी में सुधीर मलिक का एक प्लॉट खाली पड़ा था उस प्लॉट को बनाने के लिए द्वारकामाई बिल्डर्स जिसके मालिक सुनील वैध हैं ने सुधीर मलिक से संपर्क किया और उस प्लॉट को बनाने की स्कीम बताई जिसके पश्चात सुधीर मलिक उस इमारत को बनाने के लिए राजी हो गए, बाद में बिल्डर सुनील वैद्य ने इमारत को बनाया जिसमें उन्होंने निर्माण संबंधी अनेकों अनियमितताएं बरती , इस बात की जानकारी जब सुधीर मलिक को हुई तो उन्होंने सुनील वैद्य से इसका जवाब मांगा जवाब के साथ ही उन्होंने न्याय के लिए न्यायालय का दरवाजा भी खटखटाया। उसके बाद इस घटनाक्रम में एंट्री होती है राजीव शर्मा की
राजीव शर्मा एक आर टी आई कार्यकर्ता है जिन्होंने विक्रम एनक्लेव स्थित प्लॉट पर आरटीआई व अन्य तरह की प्रार्थना पत्र अन्य विभागों में देते हैं जब इमारत को सुनील वैद्य ने बनाया है और उसका एग्रीमेंट प्लॉट मालिक सुधीर मलिक से किया हुआ है जिसमें साफ-साफ लिखा हुआ है कि किसी भी प्रकार की कानूनी कार्यवाही या कानून के विरुद्ध हुई कार्यवाही का निर्वहन सुनील वैध ही करेंगे उसके बावजूद राजीव शर्मा स्टांप चोरी व जीडीए की अनियमितताओं को लेकर सुधीर मलिक पर मुकद्दमा दर्ज करवाते हैं।
राजीव शर्मा द्वारा केवल सुधीर मलिक की इमारत से जुड़ी जानकारी ही नहीं मांगी जाती है बल्कि उनके पर्सनल व निजी कंपनियों पर भी राजीव शर्मा द्वारा जानबूझकर जांच बैठाई जाती है, अंत में परेशान होकर सुधीर मलिक राजीव शर्मा से संपर्क करते हैं तो राजीव शर्मा इन सब झंझटों को उनसे दूर करने के एवज में (2000000) बीस लाख रुपए की मांग रखते हैं, "एक अटल प्रयास" एनजीओ के राष्ट्रीय अध्यक्ष आजाद छिल्लर इस घटनाक्रम की मध्यस्थता करते हैं और दो से तीन किस्तों में ₹200000 राजीव शर्मा को दिए जाते हैं जिसके सारे वीडियो और ऑडियो सुधीर मालिक के पास मौजूद साक्ष्य के रूप में मौजूद है जिसके आधार पर उन्होंने थाना साहिबाबाद में राजीव शर्मा के विरुद्ध रंगदारी माँगने का मुकद्दमा भी पंजीकृत करवाया है।
इसके अलावा राजीव शर्मा और सुधीर मलिक की मुलाकात होती है उस मुलाकात में राजीव शर्मा इस बात को स्वयं मानते हैं कि हां मैंने आप पर यह सारे केस जानबूझकर करवाये हैं इतना ही नहीं राजीव शर्मा सुधीर मलिक से यहां तक कह जाते हैं कि रजिस्ट्रार से लेकर जिस जिस सरकारी अधिकारियों के खिलाफ तुम खड़े हुए हो या वह तुम्हारे खिलाफ खड़े हुए हैं इन सब के पीछे सिर्फ मैं हूं मैं सुधीर मलिक पहले इंसान नहीं है जिन्होंने राजीव शर्मा पर इस तरीके के आरोप लगाए हैं बल्कि इससे पहले भी राजीव शर्मा पर कई बार रंगदारी और ब्लैकमेलिंग के आरोप लग चुके हैं।
पीड़ित सुधीर मलिक के पास इतने सारे साक्ष्य होने के बाद अब देखना यह होगा कि उत्तर प्रदेश पुलिस खासतौर से गाजियाबाद पुलिस राजीव शर्मा पर क्या कार्यवाही करती है....